धनबाद में आदिवासी युवती की हत्या: एक गंभीर घटना की परतें

 

घटना का विवरण

धनबाद के गोविंदपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत बरियों में 19 वर्षीय आदिवासी युवती की हत्या ने पूरे इलाके को हिलाकर रख दिया है। घटना बुधवार दोपहर की है, जब युवती की लाश मिली, जिससे स्थानीय लोगों में भय और गुस्सा दोनों का माहौल बना हुआ है। प्रारंभिक जांच में यह आशंका जताई जा रही है कि युवती के साथ दुष्कर्म किया गया, जिसके बाद उसकी हत्या की गई।

स्थानीय लोगों की प्रतिक्रिया

जैसे ही यह खबर फैली, स्थानीय लोगों का गुस्सा फूट पड़ा। उन्होंने गुरुवार को गोविंदपुर टुंडी मुख्य मार्ग पर शव को रखकर सड़क को जाम कर दिया। यह जाम लगभग तीन घंटे तक चला, जिसमें एंबुलेंस सहित कई वाहनों को दिक्कत का सामना करना पड़ा। पुलिस प्रशासन द्वारा आश्वासन देने के बाद ही जाम को समाप्त किया गया।

राजनीतिक प्रतिक्रियाएँ

इस घटना पर राजनीति भी गरमाई है। सांसद ढुल्लू महतो ने झारखंड सरकार को इस हत्या के लिए जिम्मेदार ठहराया है, और इसे सरकार की विफलता करार दिया है। उन्होंने कहा कि इस तरह की घटनाएं यह दर्शाती हैं कि राज्य में सुरक्षा व्यवस्था कितनी कमजोर हो चुकी है।

वहीं जिला परिषद सदस्य लक्ष्मीमुर्मू ने स्थानीय प्रशासन को इसके लिए जिम्मेदार ठहराया, उन्होंने आरोप लगाया कि, गोविंदपुर पुलिस अवैध रूप से चल रहे बालू, पत्थर, कोयला को बढ़ावा देने में व्यस्त रहते हैं। उनसे वसूली करने में व्यस्त रहते हैं, जिससे अपराधी इस तरह का अपराध करने में सफल हो पता है।

थाना का प्राइवेट ड्राइवर गोविंदपुर के अलग-अलग क्षेत्र में गांजा तस्कर को, शराब तस्कर को बढ़ावा दे रहा है, पुलिस की एक टीम उसे चालक के साथ वसूली में व्यस्त रहती है, नशा के चलते भी अभी घटनाएं होती है

पुलिस की भूमिका

इस मामले में पुलिस ने सात युवकों को हिरासत में लिया है और मामले की जांच शुरू कर दी है। हालांकि, पुलिस की कार्यशैली पर भी सवाल उठाए जा रहे हैं। जिला परिषद सदस्य लक्ष्मी मुर्मू ने आरोप लगाया कि पुलिस अवैध रूप से चल रहे कोयला, बालू और पत्थर के खनन से वसूली करने में व्यस्त रहती है। उनका कहना है कि पुलिस ऐसे मामलों पर ध्यान नहीं देती, जिससे अपराधी बेखौफ होकर अपने काम करते रहते हैं।

स्थानीय सुरक्षा की स्थिति

स्थानीय लोगों का मानना है कि थाना के निजी चालक के द्वारा क्षेत्र में अवैध गतिविधियों से वसूली की जाती है। ऐसे में जब युवती की हत्या हुई, तो लोगों में यह डर बैठ गया कि वे कितने सुरक्षित हैं। पुलिस की अनदेखी और अव्यवस्थाओं के चलते अपराधियों का हौसला बढ़ता जा रहा है।

समाज में डर का माहौल

इस हत्या ने सिर्फ एक परिवार को नहीं, बल्कि पूरे समुदाय को प्रभावित किया है। आदिवासी समुदाय के लोग इस घटना से भयभीत हैं और उनकी सुरक्षा पर सवाल उठने लगे हैं। वे यह सोचने पर मजबूर हैं कि क्या वे अपने घरों में सुरक्षित रह सकते हैं।

न्याय की मांग

स्थानीय लोगों ने पुलिस से न्याय की मांग की है। वे चाहते हैं कि आरोपियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाए और उन्हें जल्द से जल्द सजा मिले। इसके अलावा, उन्हें विश्वास दिलाने की जरूरत है कि पुलिस उनकी सुरक्षा के लिए तत्पर है।

धनबाद में हुई इस घटना ने न केवल कानून व्यवस्था की कमियों को उजागर किया है, बल्कि यह भी दर्शाया है कि समाज में सुरक्षा की आवश्यकता कितनी महत्वपूर्ण है। सरकार और पुलिस को चाहिए कि वे इस मामले को गंभीरता से लें और सुनिश्चित करें कि ऐसी घटनाएं भविष्य में न हों। स्थानीय समुदाय का विश्वास जीतना और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना आवश्यक है, ताकि उन्हें अपने अधिकारों और सुरक्षा के लिए लड़ने की जरूरत न पड़े।

By Manish Jha

MANISH JHA EDITOR OF NEWS 69 BHARAT

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